बदायूं में चौकी पर हमला, तोड़फोड़ और सरकारी काम में बाधा डालने की कार्रवाई
बदायूं में शहीद भगत सिंह पुलिस चौकी पर हुए भीड़ के हमले के मामले में बुधवार को उपद्रवियों के खिलाफ एफआईआर दर्ज की गई है। इसमें नौ नामजद समेत 25-30 अज्ञात हमलावर शामिल हैं। इन पर सरकारी काम में बाधा डालने, तोड़फोड़, सरकारी कर्मचारी पर हमलावर होने समेत कई गंभीर धाराएं लगाई गई हैं। पुलिस अब नामजदों की तलाश कर रही है। भीड़ में शामिल अधिकांश लोग बीएसी का झंडा व टोपी लगाए हुए थे।
मुकदमे में वादी पुलिस चौकी पर तैनात हेड कांस्टेबल जोगेंद्र सिंह को बनाया गया है। मुकदमे के मुताबिक 14 अप्रैल को डा. आंबेडकर जयंती के मौके पर जोगेंद्र सिंह अपने हमराह कांस्टेबल अंकुश कुमार के साथ सरकारी चीता मोबाइल पर क्षेत्र में रुटीन गश्त पर थे। इस दौरान शाम तकरीबन चार बजे धीरज उर्फ लालू, प्रेमशंकर, अनिल, जीतू, संजीव, राजपाल, अनुज, राजन, धीरज की पत्नी लाडली समेत 25-30 अज्ञात लोग पुलिस चौकी में घुस आए। यहां पुलिसकर्मी पहुंचे तो भीड़ उग्र हो गई और वहां रखी कुर्सियां व पंखे तोड़ना शुरू कर दिए।
इसलिए था विवाद
मुकदमे में यह भी जिक्र है कि ये लोग पारुल पत्नी गोलू व तारावती पत्नी शैलेंद्र निवासीगण खेड़ा बुजुर्ग थाना सिविल लाइंस के घर के पास बनी नाली में लगी जाली हटाने के कारण विवाद कर रहे थे और अचानक पुलिस चौकी पर हमला कर दिया। भीड़ ने चौराहे पर पहुंचकर जाम लगा दिया। इससे वाहनों का संचालन पूरी तरह ठप हो गया और कानून व्यवस्था बाधित हुई। पुलिस ने भीड़ को जैसे तैसे तितर-बितर कर जाम खुलवाया। इस मुकदमे से पहले पुलिस ने चौकी में लगे सीसीटीवी कैमरों की फुटेज भी निकाल ली है। जिसे बतौर साक्ष्य सुरक्षित रखा गया है। अब पुलिस हमलावरों की तलाश कर रही है।
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